भीषण कुहरा
भीषण कुहरा निर्मलाग्राम का युवा नाविक केशव, जो एक कथावाचक भी है, एक रहस्यमयी कोहरे का सामना करता है। यह कोहरा एक प्राचीन श्राप का हिस्सा था, जो एक जल-राक्षस की आत्मा से जुड़ा था। जैसे-जैसे कोहरा गाँव को अँधेरे में ढँक देता है, केशव अपनी और गाँववालों की याददाश्त और आवाज़ को बचाने की लड़ाई लड़ता है। नाविक का भय दशवीं सदी के पूर्वी भारत में, समुद्र के किनारे...