जादुई बांसुरी का तमाशा
जादुई बांसुरी का तमाशा ध्रुव एक परम आलसी ग्वाला था, जो सुखपुर गाँव में रहता था। एक दिन काम से बचने के लिए जंगल में भटकते हुए उसे एक प्राचीन बांसुरी मिली। वह बांसुरी जानवरों को नियंत्रित कर सकती थी, लेकिन उसमें एक शरारती आत्मा थी। हर बार जब ध्रुव उसे बजाता, तो गाँव में एक नई हास्यपूर्ण आपदा आ जाती, जिससे उसकी हर कोशिश एक तमाशा बन जाती थी।...