शंख की पुकार
शंख की पुकार शंखपुर अपनी सदियों पुरानी शंख-कला के लिए जाना जाता था, जहाँ हर शंख पर उकेरी गई नक्काशी एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी को सौंपे गए ज्ञान का प्रतीक थी। जब एक लालची उद्योगपति, महेंद्र, शंखों का खनन कर एक फैक्ट्री लगाने की योजना बनाता है, तो एक युवा महिला, शंखनी, को अपनी दादी की प्राचीन डायरी से एक गहरा रहस्य उजागर होता है। यह रहस्य सिर्फ़ शंख-कला...