सूर्यकेतु और विश्वासघात
सूर्यकेतु और विश्वासघात नव-पुर था एक उन्नत शहर, जहाँ हर तकनीक का होता था व्यापार। जब एक रहस्यमयी शक्ति ने नगर को घेरा, सूर्यकेतु ने बचाया था मानवता का संचार। सूर्यकेतु ने अपने प्रज्ञा-कवच के न्यूरल-विश्लेषक को सक्रिय किया। उसकी दृष्टि के सामने 'आस्था-नगर' का विशाल, चमकदार शहर फैला हुआ था, जो एक विशाल, पारदर्शी क्वांटम-जाल के भीतर स्थित था। यहाँ की हर इमारत, हर सड़क, यहाँ तक कि हर...